
सीएम मनाेहर लाल ने कांग्रेस पर तीखा प्रहार करते हुए कहा कि प्रदेश में कांग्रेस के 10 वर्ष के शासनकाल के दौरान अनेक घोटाले हुए जो आज न्यायालयों व सीबीआई में लम्बित हैं। जल्द ही इनमें से कुछ का फैसला भी आने वाला है। वर्तमान प्रदेश सरकार की ओर से अनियमितताओं को उजागर करने का कार्य किया जाता है और भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाने के लिए अनेक कदम उठाए गए हैं।
सीएम ने कांग्रेस के 10 साल के कार्यकाल की तुलना करते हुए अपने साढ़े 5 साल के कार्यकाल को बेहतर बताया। साथ ही कांग्रेस के कार्यकाल में घोटालों की बात कहते हुए जांच करवाए जाने की बात कही है। सीएम मनोहर लाल ने कहा कि कांग्रेस पार्टी के 10 वर्ष के कार्यकाल के दौरान केवल 92 हजार नौकरियों के विज्ञापन जारी किए गए थे, जबकि वर्तमान प्रदेश सरकार की ओर से साढ़े पांच वर्ष के कार्यकाल के दौरान 1 लाख 26 हजार नौकरियों के विज्ञापन जारी किए जा चुके हैं, जिनमें से 70 हजार युवाओं ने नौकरी ज्वाइन कर ली है और 7094 नौकरियां पाइप लाइन में हैं और 23 हजार पदों के लिए लिखित परीक्षा का आयोजन किया जाना है।
कांग्रेस काल 2006-13 तक की 10 नौकरियों पर ताे कोर्ट की कार्यवाही हाे गई। इनके कारणों को भी जानना पड़ेगा। इनमें एलडीसी, पीटीआई, आर्ट एंड क्राफ्ट टीचर, जेई, ऑपरेटर, लेक्चरर व हेल्थ इंस्पेक्टर शामिल हैं। सीएम मनोहर लाल स्थानीय सर्किट हाउस में आयोजित प्रेस वार्ता में बोल रहे थे।
पारदर्शिता के लिए हर काम ऑनलाइन किया जाएगा : सीएम: सीएम मनोहर लाल ने कहा कि सीएम ने कहा कि आने वाले समय में हरेक काम ऑनलाइन किया जाएगा। चाहे फिर ट्रांसफर के काम हो या भर्ती करनी हो। इसके लिए परिवार पहचान पत्र भी बनवाए जा रहे हैं ताकि हरेक परिवार का ब्योरा सरकार के पास होगा। इससे पता चल जाएगा कि किस परिवार की क्या जरूरत है। जिसे जरूरत होगी उसे ही लाभ मिलेगा। बजट के एक-एक पैसे का हिसाब भी ऑनलाइन होगा।
पिछली सरकार चाहती तो वह भी पारदर्शिता कर सकती थी, लेकिन इन्होंने नहीं की। कांग्रेस चाहती तो पूरे सिस्टम को ऑनलाइन करने का काम 15 साल पहले ही हो जाता, लेकिन इन्होंने फाइलों को इसलिए नहीं सरकाया क्याेंकि इनके घोटाले खुल जाते। सीएम ने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा कोरोना वारियर्स की मृत्यु की स्थिति में पीड़ित परिवार की सहायता हेतु एक्सग्रेसिया के रूप में 10 करोड़ रुपए आरक्षित किए गए हैं। वहीं, अभी तक यदि कोई आजीविका कमाने वाला कोरोना से मरता है तो उसके लिए अभी तक कोई भी पॉलिसी नहीं बनी है।
पीटीआई की भर्ती को 2012 में ही हाईकोर्ट ने किया था रद्द: सीएम ने कहा कि पीटीआई की भर्ती को 2012 में ही हाईकोर्ट ने रद्द किया था। 2013 में डबल बेंच में गए फिर भी हाईकोर्ट ने रद्द की। अगर यह उसी समय लड़ाई लड़ लेते तो बच सकती थी। अब सुप्रीम कोर्ट ने रद्द कर दी। अगर हमें हटाने हाेते तो 2015 में ही हटा देते, लेकिन ऐसा नहीं किया। अब सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद 15 सितम्बर तक परीक्षा लेकर इन्हें दोबारा लगाया जाएगा। इनके पास अनुभव भी हैं, इसका इन्हें लाभ मिलेगा।
स्टाफ सलेक्शन कमीशन ने नोटिस निकाला है, अब तक 12 हजार लोगों ने आवेदन किया है। इस मुद्दे पर कांग्रेसियों को भी राजनीति नहीं करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार की ओर से गत पांच वर्ष में 4.5 लाख युवाओं को निजी क्षेत्र में रोजगार दिया गया है। सक्षम पोर्टल पर एक लाख युवाओं ने पंजीकरण करवाया है, जिन्हें एक सौ घंटे का काम तथा 9 हजार रुपए का भुगतान किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा 20 लाख रुपए के शिक्षा ऋण के लिए गारंटी दी जाएगी। प्रदेश में विपक्ष की ओर से लगाए जा रहे बेरोजगारी बढ़ने के आरोप सत्य प्रतीत नहीं होते।
सीएम ने कोरोना फंड का दिया हिसाब, 290 कराेड़ रुपए चंदा आया: सीएम ने कोरोना संक्रमण के दौरान जरूरतमंद लोगों की सहायता के लिए मुख्यमंत्री राहत फंड में आई राशि का हिसाब दिया। उन्होंने बताया कि अब तक फंड में 290 करोड़ रुपए की राशि प्राप्त हुई है। मुख्यमंत्री राहत फंड में से 16 लाख लोगों को 700 करोड़ रुपए की राशि के तहत 3 हजार रुपए से 5 हजार रुपए तक की आर्थिक सहायता दी गई है। सरकार ने अप्रैल, मई, जून माह के दौरान 107 करोड़ रुपए की राशि का फ्री राशन दिया।
प्रदेश में पेंशन धारकों एवं कर्मचारियों से 75 करोड़ रुपए की राशि मुख्यमंत्री राहत फंड में प्राप्त हुई है और इनमें लगभग 300 ऐसे कर्मचारी हैं जिन्होंने अपनी एक माह की पूरी सैलरी दान दी है। प्रदेश के सभी विधायकों ने एक-एक माह की सैलरी इस फंड में दी है तथा एक वर्ष के लिए सैलरी का 30 प्रतिशत हिस्सा इस फंड में देने का फैसला लिया है।
असंगठित क्षेत्र के मजदूरों को 35 करोड़ रुपए, आयुष मिशन के तहत 6 करोड़ 72 लाख रुपए खर्च किए गए हैं और एक्सग्रेसिया के लिए 10 करोड़ रुपए की धनराशि आरक्षित की गई है। प्रदेश मेंं आपदा प्रबंधन के तहत 504 करोड़ रुपए की राशि खर्च की गई है। प्रवासी मजदूरों को घर भिजवाने के लिए 5600 बस यात्राओं के परिवहन विभाग को तेल के बिल की अदायगी की जाएगी।
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